संसार में सबसे बड़ा दुख का कारण परिग्रह

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आर्यिका पवित्रमति माताजी

फागी संवाददाता

नौगामा नगरी में परम पूज्य पवित्र मति माताजी ससंघ के पावन सानिध्य में चातुर्मास कालीन वाचना में धर्म की भव्य प्रभावना बढ़ रही है कार्यक्रम में समाज के प्रवक्ता सुरेश गांधी ने कहा कि 6 अक्टूबर को प्रातः सुखोदय तीर्थ नसिया जी 1008 भगवान महावीर समवशरण आदिनाथ मंदिर में विशेष शांति धारा अभिषेक के बाद जैन पाठशाला के छात्रों द्वारा पंडित रमेश चंद्र गांधी कुसुमलता नानावटी के सानिध्य में चातुर्मास पंडाल में सामूहिक रूप से पूजन की गई पूजन के पश्चात सभी छात्रों को गांधी पंकज कुमार मोतीलाल की ओर से पुरस्कार वितरण किए गए कार्यक्रम में माताजी का चातुर्मास पंडाल मैं आगमन होने के बाद बिंदिया पंचोरी द्वारा मंगलाचरण किया गया मंगलाचरण के पश्चात बाहर से पधारे हुए अतिथियों का चातुर्मास समिति अध्यक्ष निलेश जैन ,उपाध्यक्ष राजेंद्र गांधी, नरेश जैन, महेंद्र गांधी, अंतिम बाला गांधी, विमला पंचोरी, भारती पंचोरी, मुकेश गांधी द्वारा महिलाओं एवं पुरुषों का पगड़ी, माला, दुपट्टा उड़ा कर पहनाकर भव्य स्वागत किया गया, उपस्थित सभी धर्म प्रेमी बंधुओ द्वारा माताजी को प्रवचन हेतु श्रीफल चढ़ाकर विनती की गई पवित्रमति माताजी, करण मती माताजी, गरिमा मति माताजी का मंगल प्रवचन हुआ जिसमें माताजी ने अपने मंगल प्रवचनों श्रृद्धालुओं को सम्बोधित करते हुए कहा कि संसार में मनुष्य के दुखों का सबसे बड़ा कारण है परिग्रह इन दुखों को मिटाने के लिए हमें परिग्रह कम करना है एवं परिग्रह का परिमाण करना चाहिए साथ ही माताजी ने बताया कि आजकल मोबाइल का दुरुपयोग बढ़ता जा रहा है चाहे महिला हो पुरुषों छोटे बच्चे हो युवा हो दिन भर एक ही काम रहता है मोबाइल देखना और मोबाइल से कहीं दुष्परिणाम सामने आ रहे हैं, माताजी ने कहा कि आगामी दिनों में पिच्छी परिवर्तन, सर्वतो भद्र विधान एवं दीक्षा जयंती बड़े हर्षोल्लास के साथ मनाना है चातुर्मास का समय कम बचा है जितना धर्म का लाभ ले सको लेना है कार्यक्रम का संचालन दीपक पंचोरी द्वारा किया गया उक्त जानकारी जैन समाज प्रवक्ता सुरेश चंद्र गांधी द्वारा दी गई।

राजाबाबू गोधा जैन गजट संवाददाता राजस्थान

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