जैन पत्रकारिता के क्षेत्र में 35 वर्षों की निष्कलंक सेवा के लिए ‘राष्ट्रीय गौरव पुरस्कार 2026’ से सम्मानित होंगे पारस जैन ‘पार्श्वमणि’।
जयपुर (संवाददाता) – जैन पत्रकारिता के क्षेत्र में विगत 35 वर्षों से निरंतर, निस्पाप एवं प्रभावशाली योगदान देने वाले कोटा निवासी पारस जैन ‘पार्श्वमणि’ को उनके उल्लेखनीय सामाजिक, धार्मिक एवं पत्रकारिता कार्यों के लिए ‘राष्ट्रीय गौरव पुरस्कार 2026’ से सम्मानित किया जाएगा। यह सम्मान गणतंत्र दिवस के अवसर पर आयोजित होने वाले भव्य राष्ट्रीय स्तर के समारोह में प्रदान किया जाएगा।
पारस जैन ‘पार्श्वमणि’ ने जैन समाज की धार्मिक, सामाजिक एवं सांस्कृतिक गतिविधियों को पत्रकारिता के माध्यम से जन-जन तक पहुंचाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। उनकी लेखनी ने केवल समाज को जागरूक किया, बल्कि सामाजिक एकता, धार्मिक मूल्यों और मानवीय संवेदाओं को भी संशक्त रूप से प्रेरित किया। उनकी उत्कृष्ट सेवाओं को देखते हुए वर्तमान राज्य सरकार के मुख्यमंत्री श्री भजनलाल शर्मा द्वारा उन्हें मुख्यमंत्री आवास पर ‘वर्तमान का श्रमण कुमार’ की उपाधि से अलंकृत किया गया था। वे उनके सेवा-भाव, संयम और समाज के प्रति निष्ठा की प्रशंसा करते हैं। अब उन्हें प्रथम प्रयास से 700 से अधिक सामाजिक, धार्मिक एवं विभिन्न प्रतिष्ठित मंचों पर सम्मानित एवं अभिनंदित किया जा चुका है। उन्हें ‘जैन युवा पत्रकार गौरव’, ‘सर्वश्रेष्ठ संवाददाता अवार्ड’ तथा जैन समाज के ‘अनमोल मणि’ जैसी प्रतिष्ठित उपाधियों से भी नवाजा जा चुका है। चयन समिति के अनुसार, जैन पत्रकारिता के माध्यम से समाज को दिशा देने, धार्मिक चेतना को सुदृढ़ करने और सामाजिक मूल्यों के संरक्षण में उनके दीर्घकालिक योगदान को देखते हुए उन्हें ‘राष्ट्रीय गौरव पुरस्कार 2026’ के लिए सर्वसम्मति से चयनित किया गया है।














