हर महीने की पहली व 20 तारीख को लगेगा स्वास्थ्य जांच शिविर

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यमुनानगर, 16 मार्च (डा. आर. के. जैन):
देवराज विनायक चैरिटेबल क्लीनिक आजाद नगर के सभागार में एक विशेष प्रेस वार्ता का आयोजन किया गया, जिसमें जानकारी देते हुये क्लीनिक के संचालक देवराज विनायक ने बताया कि यह संस्थान के द्वारा जरुरमंदों व वरिष्ठ नागरिकों सहायता प्रदान करने के लिये निशुल्क स्वास्थ्य जांच शिविर का आयोजन किया जा रहा है। उन्होंने बताया कि आंखों की जांच के लिये हर महीने की पहली तारीख को कैम्प का आयोजन किया जायेगा जिसमें नेत्र रोग विशेषज्ञ डा. अजय राणा मरीजों की जांच करेंगे और मरीजों को दवाईयां निशुल्क प्रदान की जायेगी, तथा वरिष्ठ नागरिकों की सेवा के लिये स्वास्थ्य जांच शिविर का आयोजन हर महीने की 20 तारीख को किया जायेगा और इस शिविर में भी मरीजों को दवाइयां निशुल्क दी जायेगी। उन्होंने आगे बताया कि संस्थान द्वारा बाल एवं नवजात शिशु रोग विशेषज्ञ डा. विजय दहिया प्रतिदिन क्लीनिक में उपस्थित रहेंगे और किफायती दरों पर मरीजों की जांच करेंगे तथा दवाइयां फ्री दी जाएगी, तथा महिला रोग विशेषज्ञ डा. संतोष जैन प्रति सप्ताह मंगलवार तथा शुक्रवार को अपनी सेवाएं देगीं और मरीजों की जांच करेगीं।
फोटो नं. 1 एच.
जानकारी देते संस्थान के संचालक देवराज विनायक व डा. विजय  दहिया……………(डा. आर. के. जैन)

महिला मंडल ने सूखे व हर्बल रंगों से खेली होली, दिया सौहार्द का संदेश
यमुनानगर, 16 मार्च (डा. आर. के. जैन):
सुपाश्र्वनाथ दिगम्बर जैन मंदिर बूडिय़ा के महिला मण्डल ने होली की पवित्र त्योहार मनाया। कार्यक्रम की अध्यक्षता रेखा जैन ने की तथा संचालन अनीता जैन ने किया। जैन समाज के अनुसार सूखे व हर्बल रंगों द्वारा सौहार्द पूर्वक होली का त्योहार मनाया। रेखा जैन ने बताया कि होली मात्र एक पर्व ना होकर जीवन के विविध रंगों का दर्पण है। होली का प्रमुख आकर्षण इसके रंग है, रंग जीवन में उमंग, उत्साह व ऊर्जा का संचार करते हैं। यह ऋतु परिवर्तन का उल्लास भी है। जब पुष्प अपनी सुगंध से वायुमंडल को सुरभित करते हैं, तब यह रंगोत्सव मानव हृदय के विकारों का दहन और आत्मीयता के रंग से जुड़ जाता है। इस दिन सब एक होते हैं, कोई उच्च-नीच नहीं, कोई पराया नहीं, संकीर्णता से ऊपर उठकर हर मन प्रसन्न हो जाता है। उन्होंने बताया कि होली में केवल रंग ही नहीं, आध्यात्मिकता का संदेश का भी है। जीवन में कठिनाई अस्थाई है, परंतु सद्गुणों का प्रकाश शाश्वत है। जीवन में हताशा, निराशा आती है, लेकिन होली हमें यह सिखाती है कि जैसे रंग से भीगे चेहरे कुछ समय बाद पुन: स्वच्छ हो जाते हैं, वैसे ही जीवन के विषम क्षण भी नष्ट हो जाते हैं। मन यदि निर्मल है, शुद्ध है तो प्रत्येक परिस्थिति में आनंद ही आनंद है। उन्होंने आगे बताया कि इस अवसर पर मन की कटुता को करें और रिश्तो में पुन: स्नेह के रंग भरे। जीवन तभी सार्थक है जब उसमें प्रेम और समरसता के रंग हों। होली पर ईर्ष्या, वैमनस्य, छल कपट और अंतर्मन के कानों में छिपे दुर्भावना पूर्ण नकारात्मक विचारों को त्याग कर प्रेम का गुलाल से सामाजिक सद्भाव व समरसता बरकरार रखते हुए जीवन को प्रेम और आनंद के रंगों से लबालब करने में जुट जाना चाहिए, यही होली की सार्थकता है। इस अवसर पर सीमा जैन, नेहा जैन, अलका जैन, प्रभा जैन, प्रीत जैन, रजनी जैन आदि ने भाग लिया।
फोटो नं. 2 एच.
कार्यक्रम में भाग लेती महिलाएं………………….(डा. आर. के. जैन)

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